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वीर बाल दिवस पर परिचर्चा का आयोजन*

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*वीर बाल दिवस पर परिचर्चा का आयोजन*

ठाकुर प्रसाद महाविद्यालय, मधेपुरा के में राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) तथा राष्ट्रीय कैडेट कोर (एनसीसी) के संयुक्त तत्वावधान में वीर बाल दिवस के अवसर पर परिचर्चा का आयोजन किया गया। इस अवसर पर उपस्थित शिक्षकों एवं शोधार्थियों ने सिखों के दसवें गुरु गुरु गोबिंद सिंह के दो छोटे साहेबजादों बाबा जोरावर सिंह एवं बाबा फतेह सिंह को याद किया गया।

*वीर बालकों का साहस अविस्मरणीय*
इस अवसर पर मुख्य अतिथि बीएनएमयू में इतिहास एवं संस्कृति विभाग के पूर्व अध्यक्ष प्रो. ललन प्रसाद अद्री ने कहा कि यह दिन बाबा जोरावर सिंह एवं बाबा फतेह सिंह की शहादत दिवस के रूप में जाना जाता है। इन दोनों वीरों ने अपनी छोटी उम्र में ही धर्म एवं राष्ट्र की रक्षा के लिए अपने प्राणों का बलिदान दिया। इन दोनों ने निरंकुश शासक के सामने झुकने से इनकार कर दिया और साहस के साथ अत्याचारियों का सामना किया। इनका साहस एवं बलिदान अविस्मरणीय है।

*वीर बालकों किया डटकर मुकाबला*

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए प्रधानाचार्य प्रो. कैलाश प्रसाद यादव ने कहा कि सिखों के दसवें गुरु गोबिंद सिंह के को चार बेटे हुए- अजीत, जुझार, जोरावर और फतेह। इन चारों ने मुगल सेना के अत्याचारों का डटकर मुकाबला किया। लेकिन दुर्भाग्य से मुगलों ने अत्यंत अल्पायु में ही इन चारों वीर बालकों की हत्या कर दी।

उन्होंने बताया कि दोनों वीर बालकों की शहादत की याद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2022 से वीर बाल दिवस मनाने की शुरुआत की है। इसी कड़ी में सभी शिक्षण संस्थानों में यह दिवस मनाया जाता है।

*गोविंद सिंह एवं उनके पूरे परिवार का बलिदान अविस्मरणीय*
कार्यक्रम का संचालन करते हुए दर्शनशास्त्र विभागाध्यक्ष डॉ. सुधांशु शेखर ने कहा कि योद्धा संन्यासी गुरु गोविंद सिंह एवं उनके पूरे परिवार का शौर्य एवं बलिदान अविस्मरणीय है। भारत सरकार द्वारा इस अवसर पर देश के युवाओं और बच्चों को उनके अद्वितीय योगदान और कार्यों के लिए सम्मानित भी किया जाता है।

इस अवसर पर सुमित कुमार, राजनंदन कुमार, केशव कुमार, रुदल कुमार, सत्यम कुमार, नीरज कुमार, नितीश कुमार, अरुण, रंजन कुमार, गौरव सिंह, सुभाष कुमार, सत्यम कुमार, पुरंदर यादव, राजीव कुमार, दिलखुश कुमार, राहुल कुमार, अंकेश कुमार, दिलखुश कुमार, संजीत कुमार, हिमांशु कुमार, धनंजय कुमार, सुनील कुमार, शोधार्थी सौरभ कुमार चौहान आदि उपस्थित थे।

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